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प्रधानमंत्री ने बायोटेक स्टार्टअप एक्सपो-२०२२ (Biotech Startup Expo 2022) का उद्घाटन किया
- “बीते ८ साल में भारत की बायो-इकॉनॉमी ८ गुना बढ़ गई है। १० अरब डॉलर से बढ़कर हम ८० अरब डॉलर तक पहुँच चुके हैं। भारत, बायोटेक के ग्लोबल इको-सिस्टम में टॉप-१० देशों की लीग में पहुँचने से भी ज़्यादा दूर नहीं हैं”
- “दुनिया में हमारे आईटी प्रोफेशनल्स की स्किल और इनोवेशन को लेकर ट्रस्ट नई ऊंचाई पर है। यही ट्रस्ट, यही रेपुटेशन, इस दशक में भारत के बायोटिक फैक्टर, भारत के बायो प्रोफेशनल्स के लिए होते हम देख रहे हैं”
- “सबका साथ-सबका विकास का मंत्र भारत के विभिन्न क्षेत्रों पर लागू है। अब सभी क्षेत्रों को ‘संपूर्ण सरकार’ की पहुँच के रूप में बढ़ावा दिया जा रहा है”
- ” आज लगभग ६० विभिन्न उद्योगों में ७० हज़ार स्टार्ट-अप पंजीकृत हैं। ५ हज़ार से ज़्यादा स्टार्टअप बायोटेक से जुड़े हैं’
- “पिछले साल में ही ११०० बायोटेक स्टार्टअप उभरे”
- “सबका प्रयास की भावना को विकसित करते हुए, सरकार एकीकृत प्लेटफार्मों पर उद्योग के सर्वश्रेष्ठ दिमागों को एक साथ ला रही है”
- “बायोटेक सेक्टर सबसे अधिक डिमांड ड्राइवेन सेक्टर्स में से एक है। बीते वर्षों में भारत में ईज ऑफ लिविंग के लिए जो अभियान चले हैं, उन्होंने बायोटेक सेक्टर के लिए नई संभावनाएँ बना दी हैं”
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने आज प्रगति मैदान में बायोटेक स्टार्टअप एक्सपो-२०२२ (Biotech Startup Expo 2022) का उद्घाटन किया। उन्होंने बायोटेक उत्पाद ई-पोर्टल भी लॉन्च किया। इस अवसर पर केंद्रीय मंत्री श्री पीयूष गोयल, श्री धर्मेंद्र प्रधान, डॉ. जितेंद्र सिंह, बायोटेक क्षेत्रों के हितधारक, विशेषज्ञ, विषय-वस्तु विशेषज्ञ, निवेशक उपस्थित थे।
इस अवसर पर अपने सम्बोधन में प्रधानमंत्री ने कहा कि बीते ८ साल में भारत की बायो-इकॉनॉमी ८ गुना बढ़ गई है। उन्होंने कहा, “१० अरब डॉलर से बढ़कर हम ८० अरब डॉलर तक पहुँच चुके हैं। भारत, बायोटेक के ग्लोबल इको-सिस्टम में टॉप-१० देशों की लीग में पहुँचने से भी ज़्यादा दूर नहीं हैं।” प्रधानमंत्री ने देश में इस क्षेत्र के विकास में जैव प्रौद्योगिकी उद्योग अनुसंधान सहायता परिषद (बीआईआरएसी) के योगदान के बारे में भी बताया। प्रधानमंत्री ने कहा कि आज जब अमृत काल के दौरान देश नए संकल्प ले रहा है, देश के विकास में बायोटेक उद्योग की भूमिका बहुत महत्त्वपूर्ण है।
वैश्विक मंच पर भारतीय पेशेवरों की बढ़ती प्रतिष्ठा के बारे में बात करते हुए, प्रधानमंत्री ने कहा, “दुनिया में हमारे आईटी प्रोफेशनल्स की स्किल और इनोवेशन को लेकर ट्रस्ट नई ऊंचाई पर है। यही ट्रस्ट, यही रेपुटेशन, इस दशक में भारत के बायोटेक सेक्टर, भारत के बायो प्रोफेशनल्स के लिए होते हम देख रहे हैं।”
प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत को बायोटेक के क्षेत्र में अवसरों की भूमि माना जा रहा है, तो उसके पांच बड़े कारण हैं। पहला-डायवर्स पापुलेशन, डायवर्स क्लाइमेट जॉन्स, दूसरा-भारत का टैलेंटेड ह्यूमन कैपिटल पूल, तीसरा-भारत में ईज ऑफ डूइंग बिजनेस के लिए बढ़ रहे प्रयास। चौथा-भारत में लगातार बढ़ रही बायो-प्रोडक्ट्स की डिमांड और पांचवां-भारत के बायोटेक सेक्टर यानी आपकी सफलताओं का ट्रेक रिकॉर्ड।
प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार ने भारतीय अर्थव्यवस्था की क्षमता और शक्ति में सुधार के लिए अथक प्रयास किया है। उन्होंने ज़ोर देते हुए कहा कि ‘संपूर्ण सरकार के दृष्टिकोण’ पर विशेष ध्यान दिया गया है। उन्होंने कहा कि सबका साथ-सबका विकास का मंत्र भारत के अनेक क्षेत्रों में भी लागू है। इसके परिणामस्वरूप उस दृश्य को उलट दिया गया है जब कुछ चुनिंदा क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित किया गया था और अन्य को अपने लिए छोड़ दिया गया था। उन्होंने कहा कि आज हर क्षेत्र देश के विकास को गति दे रहा है, इसलिए हर क्षेत्र का ‘साथ’ और हर क्षेत्र का ‘विकास’ समय की मांग है। उन्होंने कहा कि सोच और दृष्टिकोण में इस बदलाव के परिणाम सामने हैं। उन्होंने हाल के वर्षों में बहुत अधिक संख्या में क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करने का उदाहरण दिया।
बायोटेक क्षेत्र के लिए भी अभूतपूर्व क़दम उठाए जा रहे हैं जो स्टार्टअप इको-सिस्टम में स्पष्ट रूप से प्रकट होते हैं। प्रधानमंत्री ने जानकारी दी, “बीते ८ वर्षों में हमारे देश में स्टार्ट-अप्स की संख्या, कुछ सौ से बढ़कर ७० हज़ार तक पहुँच गई है। ये ७० हज़ार स्टार्ट-अप्स लगभग ६० अलग-अलग इंडस्ट्रीज में बने हैं। इसमें भी ५ हज़ार से अधिक स्टार्ट अप्स, बायोटेक से जुड़े हैं। जैव प्रौद्योगिकी क्षेत्र में प्रत्येक १४वां स्टार्टअप और पिछले वर्ष में ही ११०० से अधिक ऐसे जैव प्रौद्योगिकी स्टार्टअप उभरे।” इस क्षेत्र की ओर प्रतिभा के बदलाव के बारे में बात करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि बायोटेक क्षेत्र में निवेशकों की संख्या में ९ गुना वृद्धि हुई है और बायोटेक इन्क्यूबेटरों और उनके लिए वित्तपोषण में ७ गुना वृद्धि हुई है। उन्होंने कहा, “बायोटेक इन्क्यूबेटरों की संख्या २०१४ की ६ से बढ़कर अब ७५ हो गई है। बायोटेक उत्पादों ने आज १० उत्पादों को बढ़ाकर ७०० से अधिक कर दिया है।”
प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार केंद्रित दृष्टिकोण को पार करने के क्रम में, सरकार नए सक्षम इंटरफेस प्रदान करने की संस्कृति को प्रोत्साहित कर रही है। बीआईआरएसी जैसे प्लेटफार्मों को मज़बूत किया जा रहा है और कई अन्य क्षेत्र इस दृष्टिकोण को देख रहे हैं। उन्होंने स्टार्टअप्स के लिए स्टार्टअप इंडिया अंतरिक्ष क्षेत्र के लिए इन-स्पेस, रक्षा स्टार्टअप के लिए आई-डेक्स, सेमी कंडक्टर के लिए भारत सेमीकंडक्टर मिशन, युवाओं में नवाचारों को प्रोत्साहित करने के लिए स्मार्ट इंडिया हेकाथॉन और बायोटेक स्टार्ट-अप एक्सपो का उदाहरण दिया। प्रधानमंत्री ने विस्तार से बताया, “सबका प्रयास की भावना को विकसित करते हुए, सरकार, नए संस्थानों के माध्यम से उद्योग के सर्वश्रेष्ठ दिमागों को एक मंच पर ला रही है। यह देश के लिए एक और बड़ा फायदा है। देश को अनुसंधान और शिक्षा से नई सफलताएँ मिलती हैं, उद्योग वास्तविक दुनिया के दृष्टिकोण में मदद करता है और सरकार आवश्यक नीतिगत वातावरण और आवश्यक बुनियादी ढांचा प्रदान करती है।”
प्रधानमंत्री ने ज़ोर देकर कहा कि “बायोटेक सेक्टर सबसे अधिक डिमांड ड्राइवेन सेक्टर्स में से एक है। बीते वर्षों में भारत में ईज ऑफ लिविंग के लिए जो अभियान चले हैं, उन्होंने बायोटेक सेक्टर के लिए नई संभावनाएँ बना दी हैं।” अंत में, उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य, कृषि, ऊर्जा के क्षेत्र में बदलाव, प्राकृतिक खेती, बायो-फोर्टीफाइड बीज इस क्षेत्र के लिए नई संभावनाएँ पैदा कर रहे हैं।
प्रगति मैदान, नई दिल्ली में बायोटेक स्टार्टअप एक्सपो-२०२२ के उद्घाटन के अवसर पर प्रधानमंत्री के भाषण का मूल पाठ
केंद्रीय मंत्रिमंडल के मेरे सभी सहयोगी, बायोटेक सेक्टर से जुड़े सभी महानुभाव, देश-विदेश से आए अतिथिगण, एक्सपर्ट्स, निवेशक, SMEs और स्टार्टअप्स सहित इंडस्ट्री के सभी साथी, देवियों और सज्जनों!
देश की पहली Biotech Start-Up Expo इस आयोजन के लिए, इसमें हिस्सा लेने के लिए और भारत की इस शक्ति का दुनिया को परिचय कराने के लिए मैं आप सबको बहुत-बहुत बधाई देता हूँ। ये Expo, भारत के बायोटेक सेक्टर की Exponential ग्रोथ का प्रतिबिंब है। बीते ८ साल में भारत की बायो-इकोनॉमी ८ गुना बढ़ गई है। १० अरब डॉलर से ८० अरब डॉलर तक हम पहुँच चुके हैं। भारत, Biotech के Global Ecosystem में Top-१० देशों की लीग में पहुँचने से भी ज़्यादा दूर नहीं हैं।
नए भारत की इस नई छलांग में Biotechnology Industry Research Assistance Council यानी ‘BIRAC’ की बड़ी भूमिका रही है। बीते वर्षों में भारत में Bio-economy का, रिसर्च और इनोवेशन का जो अभूतपूर्व विस्तार हुआ है, उसमें ‘BIRAC’ का अहम contribution रहा है। मैं आप सभी को ‘BIRAC’ के १० वर्ष की सफल यात्रा के लिए इस महत्त्वपूर्ण पड़ाव पर अनेक-अनेक बधाई देता हूँ। यहाँ जो exhibition लगी है, उसमें भारत के युवा टैलेंट, भारत के बायोटेक स्टार्टअप्स, इनका सामर्थ्य और बायोटेक सेक्टर के लिए भविष्य का रोडमैप, बहुत बखूबी, सुंदरतापूर्वक वहाँ प्रस्तुत किया गया है।
ऐसे समय में जब भारत, अपनी आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है, अगले २५ वर्षों के लिए नए लक्ष्य तय कर रहा है, तब बायोटेक सेक्टर, देश के विकास को नई गति देने के लिए बहुत महत्त्वपूर्ण है। Exhibition में show-case किए गए Biotech Startups और Biotech Investors और Incubation centers, नए भारत की Aspirations के साथ चल रहे हैं। आज यहाँ जो थोड़ी देर पहले जो e-portal लॉन्च किया गया है, उसमें हमारे साढ़े सात सौ Biotech Product Listed हैं। ये भारत की Bio-economy के सामर्थ्य और उसके विस्तार को भी और उसकी विविधता को दिखाता है।
साथियों,
इस हॉल में बायोटेक सेक्टर से जुड़ा करीब-करीब हर सेक्टर मौजूद है। हमारे साथ बड़ी संख्या में ऑनलाइन भी बायोटेक प्रोफेशनल्स जुड़े हुए हैं। आने वाले २ दिनों में आप इस expo में biotech sector के सामने अवसरों और चुनौतियों पर चर्चा करने वाले हैं। बीते दशकों में हमने दुनिया में अपने डॉक्टरों, हेल्थ प्रोफेशनल्स की Reputation को बढ़ते हुए देखा है। दुनिया में हमारे IT professionals की स्किल और इनोवेशन को लेकर Trust का जो माहौल है, वह एक नई ऊंचाई पर पहुँचा है। यही Trust, यही Reputation, इस दशक में भारत के Biotech sector, भारत के बायोप्रोफेशनल्स के लिए होते हुए हम सब देख रहे हैं। ये मेरा आप पर विश्वास है, भारत के बायोटेक सेक्टर पर विश्वास है। ये विश्वास क्यों है, इसकी वज़ह पर भी मैं विस्तार से बात करना चाहूंगा।
साथियों,
आज अगर भारत को biotech के क्षेत्र में अवसरों की भूमि माना जा रहा है, तो उसके अनेक कारणों में पांच बड़े कारण मैं देखता हूँ। पहला-Diverse Population, Diverse Climatic Zones, दूसरा-भारत का टैलेंटेड Human Capital Pool, तीसरा-भारत में Ease of Doing Business के लिए बढ़ रहे प्रयास चौथा-भारत में लगातार बढ़ रही Bio-Products की डिमांड और पांचवा-भारत के बायोटेक सेक्टर यानी आपकी सफलताओं का Track Record. ये पांचों Factors मिलकर भारत की शक्ति को कई गुना बढ़ा देते हैं।
साथियों,
बीते ८ साल में सरकार ने देश की इस ताकत को बढ़ाने के लिए निरंतर काम किया है। हमने Holistic और Whole of Government Approach पर बल दिया है। जब मैं कहता हूँ, सबका साथ-सबका विकास, तो ये भारत के अलग-अलग सेक्टर्स पर भी लागू होता है। एक समय था जब देश में ये सोच हावी हो गई थी कि कुछ ही सेक्टर्स को मज़बूत किया जाता था, बाक़ी को अपने हाल पर छोड़ दिया जाता था। हमने इस सोच को बदल दिया है, इस अप्रोच को बदल दिया है। आज के नए भारत में हर सेक्टर में उसके विकास से ही देश के विकास को गति मिलेगी। इसलिए हर सेक्टर का साथ, हर सेक्टर का विकास, ये आज देश की ज़रूरत है।
इसलिए, हम हर उस रास्ते को Explore कर रहे हैं जो हमारी Growth को momentum दे सकता है। सोच और अप्रोच में ये जो महत्त्वपूर्ण बदलाव आया है वह देश को नतीजे भी दे रहा है। हमने अपने मज़बूत सर्विस सेक्टर पर फोकस किया तो, Service Export में २५० बिलियन डॉलर का रिकॉर्ड बनाया। हमने Goods Exports पर फोकस किया तो ४२० बिलियन डॉलर के Products के Export का भी रिकॉर्ड बना दिया। इन सबके साथ ही, हमारे प्रयास, अन्य सेक्टर्स के लिए भी उतनी ही गंभीरता से चल रहे हैं। इसलिए ही हम अगर Textiles के सेक्टर में PLI स्कीम को लागू करते हैं, तो Drones, Semi-conductors और High-Efficiency Solar PV Modules इसके लिए भी इस स्कीम को आगे बढ़ाते हैं। बायोटेक सेक्टर के विकास के लिए भी भारत आज जितने क़दम उठा रहा है, वह अभूतपूर्व है।
साथियों,
सरकार के प्रयासों का आप हमारे स्टार्टअप इकोसिस्टम में भलीभांति उन बातों को बहुत विस्तार से देख सकते हैं। बीते ८ वर्षों में हमारे देश में स्टार्टअप्स की संख्या, कुछ सौ से बढ़कर ७० हज़ार तक पहुँच गई है। ये ७० हज़ार स्टार्ट-अप्स लगभग ६० अलग-अलग इंडस्ट्रीज़ में बने हैं। इसमें भी ५ हज़ार से अधिक स्टार्ट अप्स, बायोटेक से जुड़े हैं। यानी भारत में हर १४वां स्टार्ट-अप बायोटेक्नॉलॉजी सेक्टर में बन रहा है। इनमें भी ११ सौ से अधिक तो पिछले साल ही जुड़े हैं। आप अंदाजा लगा सकते हैं कि देश का कितना बड़ा टैलेंट तेजी से बायोटेक सेक्टर की तरफ़ बढ़ रहा है।
साथियों,
बीते सालों में हमने अटल इनोवेशन मिशन, मेक इन इंडिया और आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत जो भी क़दम उठाए हैं, उनका भी लाभ बायोटेक सेक्टर को मिला है। स्टार्ट अप इंडिया की शुरुआत के बाद हमारे बायोटेक स्टार्ट अप्स में निवेश करने वालों की संख्या में ९ गुना वृद्धि हुई है। बायोटेक Incubators की संख्या और टोटल फंडिंग में भी लगभग ७ गुना बढ़ोतरी हुई है। २०१४ में हमारे देश में जहाँ सिर्फ़ ६ bio-incubators थे, वही आज इनकी संख्या बढ़कर ७५ हो गई है। ८ साल पहले हमारे देश में १० बायोटेक प्रोडक्ट्स थे। आज इनकी संख्या ७०० से अधिक हो गई है। भारत जो अपने फिज़िकल इंफ्रास्ट्रक्चर और डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर में अभूतपूर्व Invest कर रहा है, उसका लाभ भी बायोटेक्नॉलॉजी सेक्टर को हो रहा है।
साथियों,
हमारे युवाओं में ये नया जोश, ये नया उत्साह, आने की एक और बड़ी वज़ह है। ये Positivity इसलिए है, क्योंकि देश में अब Innovation का, R&D का एक आधुनिक Support System उन्हें उपलब्ध हो रहा है। देश में Policy से लेकर Infrastructure तक, इसके लिए हर ज़रूरी reforms किए जा रहे हैं। सरकार ही सब कुछ जानती है, सरकार ही अकेले सब कुछ करेगी, इस कार्य-संस्कृति को पीछे छोड़कर अब देश ‘सबका प्रयास’ की भावना से आगे बढ़ रहा है।
इसलिए भारत में आज अनेक नए interface तैयार किए जा रहे हैं, BIRAC जैसे प्लेटफॉर्म्स को सशक्त किया जा रहा है। Start-ups के लिए Startup India अभियान हो, Space sector के लिए IN-SPACe हो, Defence start-ups के लिए iDEX हो, Semi-conductors के लिए Indian Semi-conductor Mission हो, युवाओं में इनोवेशन को प्रोत्साहित करने के लिए Smart India Hackathon हो, ये Biotech Start-Up Expo हो, सबसे प्रयास की भावना को बढ़ाते हुए नए संस्थानों के माध्यम से सरकार इंडस्ट्री के Best Minds को एक साथ, एक प्लेटफॉर्म पर ला रही है। इसका देश को एक और बड़ा फायदा हो रहा है। Research और Academia से देश को नए break throughs मिलते हैं, जो Real World View होता है उसमें Industry सहायता करती है और सरकार ज़रूरी Policy Environment और ज़रूरी इंफ्रास्ट्रक्चर उपलब्ध कराती है।
साथियों,
हमने कोविड के पूरे कालखंड में देखा है कि जब ये तीनों मिलकर काम करते हैं तो कैसे कम समय में अप्रत्याशित परिणाम आते हैं। आवश्यक मेडिकल डिवाइस, मेडिकल इंफ्रा से लेकर वैक्सीन रिसर्च, मैन्युफेक्चरिंग और वैक्सीनेशन तक, भारत ने वह कर दिखाया जिसकी किसी ने कल्पना नहीं की थी। तब देश में भांति-भांति के सवाल उठ रहे थे। टेस्टिंग लैब्स नहीं है तो जांच कैसे होगी? अलग-अलग डिपार्टमेंट्स और प्राइवेट सेक्टर के बीच coordination कैसे होगा? भारत को कब वैक्सीन मिलेगी? वैक्सीन मिल भी गई तो इतने बड़े देश में सबको वैक्सीन लगाने में कितने साल लग जाएंगे? ऐसे अनेक सवाल हमारे सामने बार-बार आए। लेकिन आज सबका प्रयास की ताकत से भारत ने सारी आशंकाओं का उत्तर दे दिया है। हम लगभग २०० करोड़ वैक्सीन डोज़ देशवासियों को लगा चुके हैं। बायोटेक से लेकर तमाम दूसरे सेक्टर्स का तालमेल, सरकार, इंडस्ट्री और एकेडमिया का तालमेल, भारत को बड़े संकट से बाहर निकाल लाया है।
साथियों,
बायोटेक सेक्टर सबसे अधिक Demand Driven Sectors में से एक है। बीते वर्षों में भारत में Ease of Living के लिए जो अभियान चले हैं, उन्होंने बायोटेक सेक्टर के लिए नई संभावनाएँ बना दी हैं। आयुष्मान भारत योजना के तहत गाँव और गरीब के लिए जिस प्रकार इलाज़ को सस्ता और सुलभ किया गया है, उससे हेल्थकेयर सेक्टर की डिमांड बहुत अधिक बढ़ रही है। बायो-फार्मा के लिए भी नए अवसर बने हैं। इन अवसरों को हम टेलिमेडिसिन, डिजिटल हेल्थ आईडी और ड्रोन टेक्नॉलॉजी के माध्यम से और व्यापक बना रहे हैं। आने वाले सालों में बायोटेक के लिए देश में बहुत बड़ा कंज्यूमर बेस तैयार होने वाला है।
साथियों,
फार्मा के साथ ही Agriculture और Energy सेक्टर में भारत जो बड़े परिवर्तन ला रहा है, वह भी बायोटेक सेक्टर के लिए नई उम्मीद जगा रही है। कैमिकल फ्री खेती को बढ़ावा देने के लिए भारत में आज Biofertilizers और Organic fertilizers को अभूतपूर्व प्रोत्साहन मिल रहा है। खेती पर Climate Change के असर को कम करने के लिए, कुपोषण को दूर करने के लिए Bio-Fortified Seeds को भी बढ़ावा दिया जा रहा है। बायोफ्यूल के क्षेत्र में जो डिमांड बढ़ रही है, जो R&D इंफ्रास्ट्रक्चर का विस्तार हो रहा है, वह बायोटेक से जुड़े SMEs के लिए, स्टार्ट अप्स के लिए एक बहुत बड़ा अवसर है।
हाल में ही हमने पेट्रोल में इथेनॉल की १० प्रतिशत ब्लेंडिंग का टारगेट हासिल कर लिया। भारत ने पेट्रोल में २० प्रतिशत इथेनॉल ब्लेंडिंग का टारगेट भी २०३० से ५ साल कम करके अब इसे २०२५ कर लिया है। ये सारे प्रयास, बायोटेक के क्षेत्र में रोजगार के भी नए अवसर बनाएंगे, बायोटेक प्रोफेशनल्स के लिए नए मौके बनाएंगे। सरकार ने अभी हाल में जो लाभार्थियों के सैचुरेशन, गरीब के शत-प्रतिशत सशक्तिकरण का अभियान शुरू किया है, वह भी बायोटेक सेक्टर को नई ताकत दे सकता है। यानी बायोटेक सेक्टर की ग्रोथ के लिए अवसर ही अवसर हैं।
भारत की Generic दवाओं, भारत की वैक्सीन्स ने जो Trust दुनिया में बनाया है, जितने बड़े लेवल पर हम काम कर सकते हैं, वह बायेटेक सेक्टर के लिए एक और बड़ा advantage है। मुझे विश्वास है, आने वाले २ दिनों में आप बायोटेक सेक्टर से जुड़ी हर संभावना पर विस्तार से चर्चा करेंगे। अभी ‘BIRAC’ ने अपने १० साल पूरे किए हैं। मेरा ये भी आग्रह है कि जब BIRAC अपने २५ साल पूरे करेगा, तो बायोटेक सेक्टर किस ऊंचाई पर होगा, उसके लिए अपने लक्ष्यों और Actionable Points पर अभी से काम करना चाहिए। इस शानदार आयोजन के लिए देश की युवा पीढ़ियों को इस क्षेत्र में आकर्षित करने के लिए और देश के कौशल को दुनिया के सामने पूरे सामर्थ्य के साथ प्रस्तुत करने के लिए मैं आप सबको बहुत-बहुत बधाई देता हूँ। बहुत-बहुत शुभकामनाएँ देता हूँ!
बहुत-बहुत धन्यवाद!
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