
छोटी परी
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छोटी परी
छोटी परी, नन्ही परी
जिंदगी में आयी
खुशियाली खुशियांली खुशियाँ ही लायी
बेटी घर की खूबसूरती हैं
दुनिया को अपना होना समझाती है
दर्द पीना सीखलाती है
समाज निर्माण करने वाली ये
अपने पर कभी इतराती है
मां से उनकी ममता सीखती
पिता से अनुपम प्रेम
भाई सीखाते ज़िन्दगी जीना
बहन से सम्बन्ध का महत्त्व सीखती हैं
पूरे देश समाज को अपना बना लेती हैं।
उर्वशी
उङ रही ये पत्तियाँ
सावन की वावली पवन में
भर गई है धूल
ज्यों चांदनी गगन
उर्वशी-सी नाचती
विद्युत की यह छटा
रंगमंच बन गई
आज सावनी घटा
महीने कितने बीत गये
महीने कितने बीत गये
अगहन पूस और माघ
खडाज खिलखिला रहा
आह! मौसम मधुमाश।
बंजड़ ह्रदय को लहलहाने
आया फागुन मास
लिए प्रेम सौगात
करते भीगा गीला
मन को
गिला शिकवा से दूर
पावन भावन होली में
करती मेल मिलाप
करती प्रेम मूलाकात।
शीतल बयार-सी तुम
सावन की-सी वावली हो
ह्रदृय में राज है तेरा
छोटी-सी छोटी तुम
राजती हो मन पर सदा
कभी दिल में आती तुम
सपने सजाती ओर लगाती
प्रेम की कूक सदा
गान मधुमाश का
गीत बरसात गाता मैं सदा।
डॉ. रंणजीत कुमार दिनकर
एस आर ए पी कालेज बारा चकिया पूर्वी चम्पारण बिहार
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